नेपाल हिंसा का असर कानपुर के व्यापारियों पर, फंसा 50 करोड़ से ज्यादा का ऑर्डर

नेपाल में तख्तापलट की वजह से उत्तर प्रदेश के हजारों करोड़ के कारोबार पर असर पड़ा है. जो ऑर्डर नेपाल भेजे जाने थे वो यूपी में ही फंसे हुए हैं. इसके पहले अमेरिका के टैरिफ फैसले की वजह से भी कारोबारियों की मुश्किलें बढ़ चुकी हैं.

कानपुर के करोबारियों का फंसा ऑर्डर Image Credit:

नेपाल में तख्तापलट के बाद हुई हिंसक घटनाओं का असर अब उत्तर प्रदेश के निर्यातक उद्योगों पर भी दिखने लगा है. कानपुर सहित पूरे यूपी से हजारों करोड़ का कारोबार नेपाल के साथ होता है. अब वहां की स्थिति के बाद कानपुर के 50 करोड़ से ज्यादा के ऑर्डर फंस गए है. पहले से ही अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए 50 प्रतिशत टैरिफ के चलते निर्यातकों की मुश्किलें बढ़ चुकी थीं. अब नेपाल में बिगड़े हालात के कारण कानपुर के कई प्रमुख निर्यातकों के करीब 50 करोड़ रुपये के ऑर्डर ब्लॉक हो गए हैं.

फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गेनाइजेशन (फिओ) की रिपोर्ट के मुताबिक, वर्ष 2024-25 में यूपी से नेपाल को निर्यात का कुल कारोबार करीब 9500 करोड़ रुपये का रहा था. इस साल निर्यात कारोबार में और वृद्धि की उम्मीद थी, लेकिन नेपाल में तनाव के चलते निर्यात का यह प्रमुख बाजार ठप पड़ गया है. कानपुर के निर्यातक बताते हैं कि वर्तमान में वे पूरी तरह असमंजस की स्थिति में हैं और यह नहीं समझ पा रहे कि संकट से कैसे उबरें.

नेपाल से हो रहा है अच्छा खासा कारोबार

फिओ के सहायक निदेशक आलोक श्रीवास्तव के अनुसार, पड़ोसी देश होने के नाते यूपी से नेपाल से अच्छा खासा कारोबार होता है. यूपी से कई तरह के उत्पाद नेपाल जाते है जिसमें पीवीसी पाइप, केमिकल, मशीनरी आइटम, आलू, चावल, कॉस्मेटिक समेत तकरीबन एक दर्जन से ज्यादा आइटम हैं.

आलोक श्रीवास्तव के अनुसार, वर्तमान में बहुत से निर्यातकों की गाड़ियां रास्ते में रुकी हुई हैं. इसके अलावा कोई भी नया ऑर्डर ना तो मिल रहा है और ना ही तैयार माल जा पाएगा. उन्होंने बताया कि अगर 2024- 2025 की बात करें करें तो यूपी से नेपाल को तकरीबन 9500 करोड़ रुपए का कारोबार हुआ है. विशेषज्ञों का कहना है कि यदि नेपाल की स्थिति जल्द सामान्य नहीं होती, तो यूपी के निर्यातक जो नेपाल से कारोबार करते है उनके लिए संकट बढ़ सकता है। निर्यातक उम्मीद जताते हैं कि जल्द ही दोनों देशों के बीच स्थिति सुधरेगी और व्यापार फिर से शुरू होगा।