यूपी में ठंड और पॉल्यूशन का डबल अटैक, गाजियाबाद में 500 पार पहुंचा AQI, यहां जानें IMD अपडेट्स

मौसम विभाग के मुताबिक आने वाले दिनों में न्यूनतम और अधिकतम दोनों तापमान में दो से तीन डिग्री तक की गिरावट नजर आ सकती है.इस बीच आज इटावा में सबसे कम तापमान 8.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. इसके अलावा प्रदूषण लेवल में भी इजाफा देखा गया.

यूपी के मौसम का हाल

उत्तर प्रदेश पर पूरी तरह से ठंड ने दस्तक दे दी है. प्रदेश के कई जिलों में गहरी धुंध देखा जा रहा है. इस बीच तापमान में भी भारी गिरावट दर्ज की जा रही है. मौसम विभाग के मुताबिक राज्य में पछुवा हवा चलने के चलते आने वाले दिनों में ठंडक में और इजाफा होगा. साथ ही अगले कुछ दिनों तक प्रदेश में आंशिक शीतलहर की स्थिति भी बन सकती है.

न्यूनतम और अधिकतम तापमान में आएगी गिरावट

फिलहाल, प्रदेश में शुष्क मौसम रहने की स्थिति है. अगले 4 से 5 दिन मौसम इसी तरह तरह बना रहेगा. दिन में धूप खिली रहेगी. लेकिन दिन और रात के वक्त तापमान में कमी देखी जा सकेगी. न्यूनतम और अधिकतम दोनों तापमान में दो से तीन डिग्री तक की गिरावट नजर आ सकती है.

इन वजहों से अचानक बढ़ गई ठंड

मौसम विभाग ने बताया कि श्चिमी विक्षोभ के कारण पश्चिमी हिमालय में हुए हिमपात से ठंडी और शुष्क उत्तर-पश्चिमी हवाएं उत्तर प्रदेश की ओर आ रही है. इसके अलावा मध्य भारत पर बने एंटी साइक्लोन हवाओं की स्थिति के चलते ही उत्तर प्रदेश में ठंड में बढ़ोतरी हो रही है.

इटावा में 9 डिग्री से नीचे तापमान

पिछले 24 घंटे के दौरान इटावा सबसे ठंडा रहा. यहां न्यूनतम तापमान 8.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. वहीं, कानपुर में तकरीबन 5 डिग्री गिरकर 9.2 रिकॉर्ड किया गया. इसके अलावा बाराबंकी में 10 डिग्री न्यूनतम तापमान पाया गया. इसके अलावा मेरठ में 10.5 और फुरसतगंज में 11 डिग्री मिनिमम टेंपरेचर रिकॉर्ड किया गया है.

गोरखपुर रहा सबसे गर्म जिला

अगर अधिकतम तापमान की बात करें तो गोरखपुर सबसे गर्म जिला रहा. यहां अधिकतम तापमान 31.2 डिग्री दर्ज किया गया. वहीं, आयोध्या में 31 फिर बहराइच में 30.8 डिग्री मिनिमम टेंपरेचर रिकॉर्ड किया गया. इसके अलावा कानपुर में 30.4 और बनारस में 29.8 न्यूनतम तापमान दर्ज किया गया है.

गाजियाबाद में पॉल्यूशन लेवल 500 पार

प्रदेश के कई प्रमुख शहरों में अब भी पॉल्यूशन का लेवल गंभीर बना हुआ है. आज सुबह नोएडा का एक्यूआई इंडेक्स पीएम 2.5 का लेवल 444 दर्ज किया गया है. वहीं, गाजियाबाद में यह लेवल 520 दर्ज किया गया. मेरठ का पीएम 2.5 लेवल का एक्यूआई 326 तो लखनऊ में 265 और वाराणसी में 156 पाया गया. लंबे समय तक ऐसी आबोहवा के संपर्क में रहने से लोगों को सांस संबंधी बीमारी हो सकती है. फेफड़े और हृदय रोग से संबंधित लोग अधिक प्रभावित होते हैं.