पंडित मनु शर्मा पर आधारित किताब का धीरेंद्र शास्त्री ने किया विमोचन, ‘हिंदू राष्ट्र यात्रा’ के लिए काशी वासियों का लिया आशीर्वाद

वाराणसी में बागेश्वरधाम सरकार पंडित धीरेंद्र शास्त्री पंडित मनु शर्मा पर आधारित किताब 'अग्निरथ का सारथी' का विमोचन किया. इस दौरान उन्होंने पंडित मनु शर्मा को आत्मकथाओं का अद्भुत संसार रचने वाला बताया. इसके अलावा बागेश्वर धाम सरकार ने हिन्दू राष्ट्र के किए 7 नवंबर से 16 नवंबर तक दिल्ली से वृन्दावन तक की अपनी पदयात्रा के लिए काशी के लोगों का आशीर्वाद लिया.

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वाराणसी के रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर में ‘हमारे मनु’ थीम पर हुए समारोह में पद्मश्री पंडित मनु शर्मा पर अधारित किताब ‘अग्निरथ का सारथी’ का बागेश्वरधाम सरकार पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने विमोचन किया. यह किताब साहित्यकार डॉ.इंदीवर ने लिखी है. पुस्तक विमोचन के बाद बागेश्वर धाम सरकार ने अपने खास अंदाज में अध्यक्षीय संबोधन किया.

पंडित धीरेन्द्र शास्त्री ने कहा कि हमारा धर्म अद्भुत विज्ञान है. इसे जानना ज्ञान है और प्रकट करना विज्ञान है. व्यथा से मुक्ति के लिए कथा से जुड़ना ही होगा. चाहे यह कथा गीता की हो, शिवपुराण, श्रीराम और उनके अनन्य भक्त हनुमान की हो या फिर पंडित मनु शर्मा की लिखी हुई ‘श्रीकृष्ण की आत्मकथा’ ही क्यों ना हो. कथा से खुद को जोड़े बिना किसी का कल्याण नहीं है.

पंडित मनु शर्मा ने तो आत्मकथाओं का अद्भुत संसार रचा

बागेश्वरधाम सरकार पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने आगे कहा कि पंडित मनु शर्मा ने तो आत्मकथाओं का अद्भुत संसार रचा है. यहां बागेश्वर धाम ने हिन्दू राष्ट्र के किए 7 नवंबर से 16 नवंबर तक दिल्ली से वृन्दावन तक की अपनी पदयात्रा के लिए काशी के लोगों का आशीर्वाद भी लिया.

कार्यक्रम में बागेश्वर धाम के अलावा इन लोगों ने की शिरकत

‘अग्निरथ का सारथी’ पुस्तक विमोचन के दौरान बागेश्वर धाम पंडित धीरेन्द्र शास्त्री, असम के राज्यपाल डॉक्टर लक्ष्मण आचार्य, केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल, केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल, यूपी के डिप्टी सीएम बृजेश पाठक और वरिष्ठ पत्रकार हेमंत शर्मा भी मौजूद थे. इसके अलावा केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत सरकार संबंधित एक महत्वपूर्ण कार्य के चलते दक्षिण अफ्रीका में हैं तो इस कार्यक्रम में वह वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए जुड़े.

‘कृष्ण की आत्मकथा’ भारतीय साहित्य का अनुपम ग्रंथ

दीप प्रज्ववलन और मंगलाचरण के बाद सुप्रसिद्ध साहित्यकार मनु शर्मा को अतिथियों ने अपने अपने तरीके से याद किया. केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि मनु शर्मा ने न केवल पुराणों को आधुनिक भाषा में जीवंत किया बल्कि भारतीय मानस को नए रूप में परिभाषित किया. उनकी ‘कृष्ण की आत्मकथा’ भारतीय साहित्य का अनुपम ग्रंथ है.

काशी की सांस्कृतिक चेतना का संवाहक है पंडित मनु शर्मा

इसके अलावा राज्यपाल लक्ष्मण आचार्य ने उन्हें “काशी की सांस्कृतिक चेतना का संवाहक” बताया. वहीं प्रोफेसर एस.पी. सिंह बघेल ने कहा कि “उनकी रचनाएँ भारतीय समाज के भीतर की नैतिकता और संघर्ष का दस्तावेज हैं. इसके अलावा डॉ. इंदीवर, ने कहा कि मनु शर्मा न केवल कथाकार थे, बल्कि वह एक युगदृष्टा थे. इस पुस्तक में उनके व्यक्तित्व और रचना-दर्शन की झलक प्रस्तुत करने का प्रयास किया गया है. पुस्तक विमोचन के बाद गजल के बादशाह अहमद हुसैन मोहम्मद हुसैन के गीतों और गजलों का भी कार्यक्रम हुआ.