41 करोड़ की संपत्ति, 140 साल पुरानी कंपनी… राजनीति ही नहीं कारोबार जगत के भी ‘चौधरी’ हैं पंकज!
उत्तर प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष पद के लिए सात बार के सांसद पंकज चौधरी ने अकेले नामांकन दाखिल किया है. उनका यूपी बीजेपी का नया चीफ बनना तय माना जा रहा है. कल भव्य कार्यक्रम में इसका औपचारिक घोषणा की जाएगी. राजनीति में शिखर तक पहुंचे पंकज चौधरी सिर्फ नेता नहीं, सफल कारोबारी भी हैं.
उत्तर प्रदेश भारतीय जनता पार्टी (BJP) को नया प्रदेश अध्यक्ष मिल गया है. लंबे मंथन के बाद केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी का नाम इस पद के लिए ऐलान किया गया. पंकज चौधरी ने शनिवार को लखनऊ में बीजेपी प्रदेश कार्यालय में नामांकन दाखिल किया. इस पद के लिए एकमात्र उम्मीदवार होने के नाते उनका निर्विरोध चुने जाने की संभावना है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक सहित कई वरिष्ठ नेता प्रस्तावक बनें. अब औपचारिक घोषणा 14 दिसंबर को केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल की मौजूदगी में किया जाएगा. पंकज चौधरी सिर्फ नेता नहीं, सफल कारोबारी भी हैं. वे 140 सालपुरानी विरासत वाली कंपनी के मालिक भी हैं.
140 साल पुराने ‘राहत रूह’ तेल ब्रांड के मालिक
पंकज चौधरी, मशहूर आयुर्वेदिक ब्रांड ‘राहत रूह’ तेल बनाने वाली कंपनी हरबंशराम भगवानदास के मालिक हैं. यह 140 साल पुरानी विरासत वाली कंपनी है, जो सिरदर्द, तनाव और दर्द निवारक आयुर्वेदिक तेल बनाती है. पूर्वांचल और उत्तर प्रदेश में यह तेल घर-घर लोकप्रिय है. कंपनी की जड़ें 1881 से जुड़ी हैं और अब डिजिटल युग में भी मजबूत हो रही है.
कितनी है नेटवर्थ? अपने दम पर किया हासिल
2024 लोकसभा चुनाव के हलफनामे के अनुसार, पंकज चौधरी की कुल संपत्ति 41 करोड़ रुपये से अधिक है. 2004 में उनकी संपत्ति करीब 1 करोड़ थी, जो 20 साल में कारोबार और राजनीतिक करियर से बढ़कर 41 करोड़ हो गई. इनमें 36 करोड़ अचल और 5 करोड़ से ज्यादा चल संपत्ति है. उनके पास करोड़ 40 लाख की गैर कृषि भूमि है.
वहीं, पंकज चौधरी के पास 50 लाख से ज्यादा के गहने, पांच करोड़ के कॉमर्शियल बिल्डिंग और उनके गोरखपुर स्थित आवास की कीमत लगभग 19 करोड़ रुपये है. इसके अलावा, कई बैंकों में करीब 1 करोड़ रुपये के पास पैसे जमा है. जबकि पंकज चौधरी ने 3 करोड़ रुपये से अधिक का लोन अपने नाम पर लिए हैं.
कौन हैं यूपी बीजेपी के होने वाले नए चीफ?
पंकज चौधरी पूर्वांचल की राजनीति के बड़े नाम हैं. महाराजगंज लोकसभा सीट से सात बार सांसद चुने जा चुके हैं. उनका राजनीतिक सफर गोरखपुर में पार्षद से शुरू हुआ, जहां वे डिप्टी मेयर भी रहे. 1991 में पहली बार लोकसभा पहुंचे. संगठन में मजबूत पकड़ रखने वाले चौधरी 2021 से मोदी सरकार में वित्त राज्य मंत्री हैं.
पीएम मोदी से उनकी निकटता जगजाहिर है. 2023 में गोरखपुर दौरे पर पीएम मोदी अचानक उनके घर पहुंचे थे. ओबीसी के कुर्मी समुदाय से आने वाले पंकज चौधरी की पूर्वी उत्तर प्रदेश में गहरी पैठ है. यादवों के बाद कुर्मी यूपी का सबसे बड़ा पिछड़ा वर्ग है, जो कई सीटों पर चुनावी नतीजे प्रभावित करता है.
कुर्मी समाज से आने वाले चौथे प्रदेश अध्यक्ष
बीजेपी की रणनीति में 2027 विधानसभा चुनाव को देखते हुए ओबीसी चेहरे को मजबूत करना अहम है. यह नियुक्ति बीजेपी के लिए रणनीतिक कदम मानी जा रही है, क्योंकि कुर्मी वोट बैंक को मजबूत करने से पार्टी को आगामी पंचायत और विधानसभा चुनावों में फायदा हो सकता है. अगर चौधरी प्रदेश अध्यक्ष बनते हैं तो वे कुर्मी समाज से आने वाले चौथे नेता होंगे.
