16 करोड़ की ज़मीन, 184 करोड़ मुनाफा… खुलने लगा छांगुर बाबा की बेनामी संपत्तियों का राज
छांगुर बाबा उर्फ जलालुद्दीन पर देशभर में धर्मांतरण रैकेट चलाने के साथ- साथ विदेशी फंडिंग से 300 करोड़ रुपए की बेनामी संपत्ति बनाने का आरोप है. इस मामले में ED और STF की जांच में पुणे की 200 करोड़ की जमीन डील, गुप्त कोडवर्ड्स और मनी लॉन्ड्रिंग के भी सबूत मिले हैं.

उत्तर प्रदेश और महाराष्ट्र समेत देशभर में धर्मांतरण के नाम पर चल रहे एक बड़े रैकेट का जब खुलासा हुआ है, तो इसका सरगना निकला जलालुद्दीन करिमुल्ला उर्फ छांगुर बाबा. ईडी और STF की संयुक्त जांच में ये सामने आया है कि बाबा न केवल सैकड़ों लड़कियों को बहला-फुसलाकर धर्म परिवर्तन कराता था, बल्कि विदेशी फंडिंग और बेनामी संपत्तियों के जरिए सैकड़ों करोड़ का खेल, खेल रहा था. जांच में इस बात का पता चला है कि आरोपी बाबा 300 करोड़ रुपए से ज्यादा की मनी लॉन्ड्रिंग कर चुका है.
सामने आया 200 करोड़ का खेल
ED ने बाबा की कई नामी और बेनामी संपत्तियों के दस्तावेज इकट्ठा किए हैं. पुणे और मुंबई में उसकी करोड़ों की जमीन और प्रॉपर्टी मौजूद हैं. जांच में ये भी सामने आया कि पुणे के मावल तहसील में आदिवासियों की 16 करोड़ रुपए की जमीन का MOU किया गया, जिसकी मौजूदा कीमत 200 करोड़ रुपए बताई जा रही है. इस डील में छांगुर बाबा, नवीन रोहरा और मोहम्मद अहमद खान के साथ-साथ 3 आदिवासियों के भी नाम भी शामिल थे. 2023 में हुई इस खरीद- फरोख्त में नकद और RTGS के ज़रिए ट्रांजैक्शन करने की बात सामने आई है.
ED ने किया भांडाफोड़
ED को मिले सबूतों के मुताबिक बाबा के पुणे में तीन लग्ज़री फ्लैट्स, एक ट्रस्ट और 40 बैंक खातों का ज़िक्र है. इनमें करीब 106 करोड़ रुपए की संदिग्ध धनराशि को ट्रैक किया गया है. जांच में ये बात सामने आई है कि 3 महीनों में 18 खातों के जरिए करीब 68 करोड़ रुपए का लेनदेन किया गया है, जिनमें से उसे करीब 7 करोड़ विदेशी चंदे के रूप में प्राप्त हुए हैं.
इसके अलावा छांगुर बाबा के धर्मांतरण रैकेट के सीक्रेट कोडवर्ड्स का भी पता चला है. इनका इस्तेमाल इसके गिरोह के सभी सदस्य करते थे. इनमें से “प्रोजेक्ट” कोडवर्ड को युवतियों को टारगेट करने के लिए, “काजल लगाना” मतलब बहकाने की कोशिश, “दर्शन” यानी बाबा से पहली मुलाकात. इसके अलावा ऐसे कई कोडवर्ड्स का पता चला है.



