डिंपल यादव पर टिप्पणी को लेकर बढ़ीं मौलाना रशीदी की मुश्किलें… मक्का से इमाम इसहाक ने सुनाई खरी- खोटी

डिंपल यादव पर की गई टिप्पणी को लेकर मौलाना साजिद रशीदी एक के बाद मुश्किलों से घिरते दिखाई दे रहे हैं. अब सहारनपुर के मुस्लिम धर्मगुरू और देवबंदी उलेमा कारी इशहाक गोरा ने मक्का से मौलाना के बयान पर आपत्ति जाहिर की है. उन्होंने उनके इस बयान को आपत्तिजनक बताया है. उन्होंने साजिद रशीदी को लेकर क्या कहा है, हम आपको बताते हैं.

मौलाना रसीदी को खरी- खोटी

मौलाना साजिद रशीदी द्वारा सपा सांसद डिंपल ल यादव को लेकर की गई अपमानजनक बातों को लेकर देवबंद के मुस्लिम धर्म गुरु और जमीयत दावतुल मुस्लिमीन के संरक्षक कारी इसहाक गोरा की भी कड़ी प्रतिक्रिया सामने आई है , कारी इसहाक गोरा ने साजिद रशीदी को उनके बयान को लेकर फटकार लगाई है. तो वही उन्होंने मस्जिद में राजनीतिक दलों के नेताओं तस्वीरों को विचलित करने वाली खबर बताया है.

कारी इसहाक गोरा ने कहा कि मस्जिद जैसे पवित्र स्थान पर इस तरह की राजनीतिक गतिविधियां करना ठीक बात नहीं है. उन्होंने कहा कि अगर किसी को ऐसे गुफ्तगू करनी ही थी, तो उन्हें मस्जिद के अंदर ही एक अलग से कमरा होता है, वहां बैठकर मुकम्मल तरीके से बात की जानी चाहिए थी.

मक्का से मौलाना को लगी फटकार

देवबंदी उलेमा इमाम कारी इसहाक गोरा इन दिनों हज उमराह के चलते मक्का में है, उन्होंने मक्का से ही वीडियो के जरिए अपना बयान जारी किया. जिसमें वे मौलाना साजिद रशीदी के बयान को लेकर आपत्ति जाहिर कर रहे हैं. वीडियो में इमाम को ये कहते हुए देखा जा सकता है कि हाल ही में एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई जिसमें समाजवादी पार्टी के कुछ नेता एक मस्जिद में मीटिंग करते नज़र आए.

इस बैठक की अहम बात यह थी कि उसमें कुछ महिलाएं भी शामिल थीं. ये मस्जिद रामपुर से सांसद और समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मौलाना मुहीबुल्लाह नदवी की इमामत के अंतर्गत आती है. तस्वीर के सोशल मीडिया में आने के बाद इस पर राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज़ हो गई. और एक बार फिर मस्जिद के नियम कायदों को लेकर बहस छिड़ गई.

मौलाना के खिलाफ FIR भी

इस बहस ने नया मोड़ तब आया, जब टीवी डिबेट्स में अक्सर अपनी राय रखने वाले मौलाना साजिद रशीदी ने डिंपल यादव को लेकर एक आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी. चूंकि तस्वीर में डिंपल यादव भी मस्जिद में बैठी नज़र आई थीं. इस कमेंट को न केवल महिला सम्मान को ठेस पहुँचाने वाला माना गया, बल्कि मौलाना के खिलाफ FIR भी दर्ज की गई.