इलाहाबाद विश्वविद्यालय के यूजी कोर्सेज में बड़े बदलाव… अब 4 साल में मिलेगी ऑनर्स डिग्री
इलाहाबाद विश्वविद्यालय में यूजी ऑनर्स डिग्री को लेकर बड़े बदलाव देखने को मिले हैं. पहले जहां ये डिग्री 3 साल में पूरी होती थी, तो वहीं अब नए प्रावधानों के तहत ये 4 साल में पूरी होगी. इसके अलावा भी विश्वविद्यालय प्रशासन ने कुछ बदलाव किए हैं. आखिर AU के इतने बड़े पैमाने पर फेरबदल के पीछे की वजह क्या है. आपको बताते हैं.

इलाहाबाद विश्वविद्यालय में यूजी कोर्सेज को लेकर कुछ बड़े बदलाव देखने को मिल रहे हैं. इसी के तहत 2025- 26 के सेशन में स्नातक लेवल की ऑनर्स डिग्री 3 साल की जगह अब 4 साल में मिलेगी. इस प्रस्ताव को विश्वविद्यालय की विद्वत परिषद ने मंजूरी दे दी है. AU की कुलपति प्रो. संगीता श्रीवास्तव की अध्यक्षता में सीनेट हॉल कॉम्प्लेक्स में ये फैसला लिया गया. इसके तहत नए बदलाव देखने को मिलेंगे.
न्यू एजुकेशन पॉलिसी का असर
4 साल की यूजी डिग्री का फैसला नई शिक्षा नीति 2020 के तहत लिया गया है. इसके साथ ही इलाहाबाद विश्वविद्यालय देश के उन उच्च शिक्षण संस्थानों में भी शामिल हो गया है, जो स्नातक शिक्षा में व्यापक बदलाव करने की कोशिश कर रहे हैं. अब विश्वविद्यालय के कला, विज्ञान और वाणिज्य सहित सभी संकायो में ये बदलाव लागू किया जाएगा.
पहले जहां छात्र अपना यूजी कोर्स 6 सेमेस्टरों में पूरा कर लेते थे, तो वहीं अब उन्हें 8 सेमेस्टरों की परीक्षा देनी होगी. इसके लिए छात्र कुल 160 क्रेडिट प्राप्त करेंगे. इस प्रणाली में मल्टीपल एंट्री-एग्जिट की भी सुविधा देखने को मिलेगी.
होंगे ये लाभ
अगर कोई छात्र चाहे तो पहले वर्ष के बाद प्रमाणपत्र, दूसरे वर्ष के बाद डिप्लोमा, तीसरे वर्ष के बाद सामान्य स्नातक डिग्री और चौथे वर्ष के अंत में ऑनर्स डिग्री ले सकता है. इससे ये फायदा होगा कि अगर किसी छात्र को किन्हीं वजहों से बीच में ही पढ़ाई छोड़नी पड़ती है, तो उसके शैक्षिक सेशन खराब नहीं होंगे.
न्यू एजुकेशन पॉलिसी के तहत विषयों के चयन में भी बदलाव हुआ है. छात्र दो मुख्य विषयों के साथ एक सहायक विषय पहले दो वर्षों तक पढ़ेंगे. फिर तीसरे वर्ष में उनके पास सिर्फ मुख्य विषय रहेंगे और चौथे वर्ष में एक विषय लेकर ऑनर्स स्पेशलाइजेशन किया जाएगा.
समग्र विकास पर विशेष जोर
नई व्यवस्था में छात्रों के समग्र विकास पर विशेष जोर दिया गया है. इसके तहत एम्प्लॉयमेंट स्किल और वैल्यू-एडेड कोर्स भी शामिल किए गए हैं. छात्रों को 2 क्रेडिट के स्किल के साथ- साथ पब्लिक स्पीकिंग, रचनात्मक लेखन, कंप्यूटर एप्लिकेशन, एआई, बेकिंग, कुकिंग, म्यूजिक और भारतीय संस्कृति से जुड़े 150 से अधिक पाठ्यक्रमों के विकल्प मिलेंगे.



