दीपावली से पहले सर्राफा बाजारों में सन्नाटा, ज्वेलर्स क्यों कर रहे पलायन की बात?

दीपावली से पहले सर्राफा बाजारों में सन्नाटा पसरा है, क्योंकि सोने-चांदी की रिकॉर्डतोड़ कीमतें ग्राहकों को दूर कर रही हैं. सहारनपुर में ज्वेलर्स कारोबार ठप होने और भविष्य में और दाम बढ़ने की आशंका से चिंतित हैं. ग्राहक भाव पूछकर लौट रहे हैं, जिससे सर्राफा कारोबारी पलायन पर विचार करने को मजबूर हो रहे हैं.

सहारनपुर का सर्राफा बाजार

दिवाली का समय है, लेकिन सर्राफा बाजारों में आग लगी है. इस दिवाली थोड़ा बहुत जेवर बनवा लेने का सपना देख लोग सर्राफा बाजार में जा तो रहे हैं, लेकिन वहां भाव सुनकर ही उनके सपनों पर पानी फिर जा रहा है. लोगों की इन्हीं मुश्किलों को देखते हुए टीवी9 उत्तर प्रदेश की टीम ने सहारनपुर के सर्राफा बाजार का जायजा लिया. यहां तो पूरी स्थिति ही चौंकाने वाली मिली. इस सर्राफा बाजार में कारोबार कर रहे कई कारोबारी हालात को देखते हुए पलायन की बात करने लगे हैं.

सहारनपुर के सर्राफा बाजार में धनतेरस और दिवाली की तैयारियां पूरी हैं. सर्राफा कारोबारी नया माल मंगाकर ग्राहकों का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन ग्राहकों के बिना सर्राफा बाजार की गलियां खाली पड़ी हैं. ग्राहकों के बिना पूरा सर्राफा बाजार बेरौनक पड़ा था. हालात को देखते हुए हमने सर्राफा कारोबारियों से बात की. उनका कहना है कि कारोबारी सीजन में चाहें सोना हो या चांदी, सर्राफा आइटम आम आदमी के हाथ से खिसक गया है. सोने और चांदी की बढ़ती कीमतों की वजह से ग्राहक बाजार में टिक नहीं पा रहे हैं.

अभी और बढ़ेंगी कीमतें

सर्राफा कारोबारियों के मुताबिक इस समय सोना डेढ़ लाख तो चांदी का भाव तीन लाख के पार चल रहा है. ऐसे में जिन ग्राहकों ने इस दिवाली कुछ जेवर बनवाने की सोची थी, वो भी हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं. आलम यह है कि ग्राहक बाजार में आ तो रहे हैं, रेट भी पूछ रहे हैं, लेकिन लेन-देन करने के बजाय उठकर चले जा रहे हैं. सर्राफा कारोबारियों के मुताबिक निकट भविष्य में स्थिति और भी खराब होने वाली है. उम्मीद है कि सोने और चांदी के भाव अभी और बढ़ेंगे. ऐसे हालात में कारोबार बिलकुल ही ठप होने की आशंका है.

पलायन पर विचार करने लगे कारोबारी

सर्राफा कारोबारियों के मुताबिक हालात को देखते हुए चाहें कारोबारी हों या कारीगर, सभी पलायन को सोंचने लगे है. कई सर्राफा कारोबारियों ने तो अपना नया धंधा शुरू भी कर दिया है. वहीं जेवर बनाने के स्पेशलिस्ट कारीगार भी अब रोजगार के दूसरे साधनों की तलाश में लग गए हैं. यह स्थिति कारोबार में गिरावट होने और काम नहीं मिलने की वजह से बनी है. कारोबारियों का कहना है कि यदि ऐसे ही हालात बने रहे तो सर्राफा कारोबार को बचा पाना मुश्किल हो जाएगा. खासतौर पर छोटे कारोबारी तो बाजार में टिक ही नहीं पाएंगे.