बाराबंकी के बाद अब कासगंज में वोटरों ने अखिलेश यादव को बताया सही, बोले- DM के दावे झूठे हैं

उत्तर प्रदेश के बाराबंकी के बाद अब कासगंज विधानसभा में वोटर्स अखिलेश यादव के समर्थन में उतर आए हैं. अमांपुर 101 की मतदाता सूची से नाम कटने के अखिलेश यादव के दावों को स्थानीय मतदाताओं ने सही ठहराया है. जुगेन्द्र और प्रेमकिशोर ने दावा किया कि उनको मृत घोषित कर उनके नाम लिस्ट से काट दिए हैं, जबकि पहले सभी चुनावों में मतदान किया था.उन्होंने जिलाधिकारी के दावों को गलत बताया है. चुनाव आयोग की तरफ से वोटर्स के लिस्ट में हुई गड़बड़ी को लेकर जांच की जिम्मेदारी जिलाधिकारियों को सौंपी थी.

कासगंज में अखिलेश के समर्थन में आए वोटर्स Image Credit:

उत्तर प्रदेश के बाराबंकी के बाद अब कासगंज विधानसभा में वोटर्स अखिलेश यादव के समर्थन में उतर आए हैं.
अमांपुर 101 की मतदाता सूची से नाम कटने के अखिलेश यादव के दावों को स्थानीय मतदाताओं ने सही ठहराया है. जुगेन्द्र और प्रेमकिशोर ने दावा किया कि उनको मृत घोषित कर उनके नाम लिस्ट से काट दिए हैं, जबकि पहले सभी चुनावों में मतदान किया था.उन्होंने जिलाधिकारी के दावों को गलत बताया है. उन्होंने कहा कि मतदाताओं ने वोट न डाल पाने की बात कही है. उन्होंने कहा कि हमारा लिस्ट में नाम नहीं था.

उत्तर प्रदेश में कासगंज में समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के वोट चोरी को लेकर किए जा रहे दावों को कासगंज के उन मतदाताओं ने मजबूती दी है. इसके पहले बाराबंकी के वोटर्स ने ऐसा किया था. कासगंज के वोटर्स ने कहा कि विधानसभा चुनाव में वोटिंग लिस्ट में नाम काटने की वजह से वोट नहीं डाल सके.उनका कहना है कि 2022 से पहले सभी चुनाव में वह मतदान करते आए हैं, लेकिन 2022 की मतदाता सूची में उनके नाम नहीं थे जिसके चलते वह अपना वोट नहीं डाल सके.

डीएम ने अखिलेश यादव के दावों को बताया झूठा

दरअसल, बीते दिनों अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया एक्स पर आरोप लगाया था कि 2022 के विधानसभा चुनावों के दौरान उनकी पार्टी ने मतदाता सूची से नाम हटाए जाने के खिलाफ शपथपत्र जमा किए थे. उन्होंने कासगंज की अमांपुर विधानसभा सीट के भी 08 मतदाताओं का जिक्र किया.

सपा नेता अखिलेश यादव ने कहा कि बीजेपी सरकार ने इन शपथपत्रों में से किसी एक का भी संतोषजनक जवाब नहीं दिया. इसके बाद कासगंज के जिलाधिकारी प्रणय सिंह ने अखिलेश यादव के दावों पर पलटवार करते हुए उसे फर्जी बताया था. उन्होंने कहा कि 08 मतदाताओं में से एक की मृत्यु हो चुकी है और सात लोगों का नाम दो जगह होने के कारण एक जगह बिलोपित कर दिया गया है. उनका नाम वोटर लिस्ट में शामिल हैं और किसी के नाम नहीं काटे गए हैं.

वोटर्स ने डीएम के वादे को बताया गलत

वहीं कासगंज की बिधानसभा अमांपुर के 08 मतदाता जिनका जिक्र अखिलेश यादव ने किया था, उसमें से दो मतदाता खुद सामने आकर कासगंज के जिलाधिकारी के दावों को ही झूठ बता रहे हैं. उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव की बात एकदम सही है. जुगेन्द्र और प्रेमकिशोर के नाम 2022 की मतदाता सूची में शामिल नहीं थे. इसकी वजह से दोनों वोटिंग नहीं कर सके थे. जबकि 2022 से पहले सभी चुनाव में उनके नाम मतदाता सूची में शामिल रहते थे और वह मतदान भी करते थे.

गांव के दूसरे लोगों ने भी आरोप लगाया कि अखिलेश यादव की बात एकदम सही है. उन्होंने कहा कि आज तक गांव में कोई भी जांच करने नहीं आया कि आखिर मतदाताओं के नाम क्यों काट दिया गया?

रिपोर्ट- देवेंद्र यादव/ कासगंज