गंगा एक्सप्रेसवे से सीधे जुड़ेगा जेवर एयरपोर्ट, न्यू ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे को मंजूरी; मिला 1246 करोड़ रुपया

नोएडा में बन रहे जेवर एयरपोर्ट को सीधे गंगा एक्सप्रेसवे से जोड़ने की तैयारी को मंजूरी मिल गई है. इसके लिए एक नए ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे का निर्माण होगा. योगी सरकार ने अनुपूरक बजट में 1246 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है. यह परियोजना औद्योगिक विकास, कनेक्टिविटी और निवेश को नई गति देगी. इससे यात्री आवागमन सुगम होगा.

नोएडा में निर्माणाधीन जेवर एयरपोर्ट

योगी सरकार ने विधानसभा के शीतकालीन सत्र में सोमवार को अनुपूरक बजट पेश किया. इसमें नोएडा में ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे परियोजना के लिए ₹1,246 करोड़ का प्रावधान किया गया है. नया एक्सप्रेसवे जेवर एयरपोर्ट को सीधे गंगा लिंक से जोड़ेगा. एक्सप्रेसवे बाधाओं को दूर करने और निवेश प्रोत्साहन के लिए भी भारी धनराशि आवंटित की गई है.

अनुपूरक बजट में औद्योगिक और अवस्थापना विकास को व्यापक समर्थन देते हुए गंगा एक्सप्रेसवे परियोजना के लिए बीजीएफ के अंतर्गत ₹1,835 करोड़ और गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे परियोजना के लिए ₹100 करोड़ का प्रावधान किया गया है. इस प्रस्तावित धनराशि के माध्यम से एक्सप्रेसवेज के विकास में आ रही बाधाओं को भी दूर किया जाएगा.

निवेश, रोजगार और औद्योगिक विकास को बढ़ावा

यह परियोजना अंतरराष्ट्रीय निवेश, लॉजिस्टिक्स और औद्योगिक विस्तार को मजबूत करने की दिशा में अहम कदम मानी जा रही है. इस ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे से माल परिवहन, निर्यात, औद्योगिक आपूर्ति श्रृंखला और यात्री आवागमन को निर्बाध गति मिलेगी. सरकार का मानना है कि यह कॉरिडोर प्रदेश में निवेश, रोजगार और औद्योगिक विकास को बढ़ावा देगा.

वहीं आगरा–लखनऊ एक्सप्रेसवे के 292 किलोमीटर हिस्से में बाईं ओर नए जन सुविधा परिसर एवं वाहन पार्किंग स्थलों के निर्माण के लिए ₹5 लाख की प्रतीक मांग रखी गई है, जिसे अनुदानों में होने वाली बचत से वहन किया जाएगा. इसके अलावा निवेश प्रोत्साहन के लिए भी धनराशि की व्यवस्था की गई है.

निवेश प्रोत्साहन नीति के तहत भारी धनराशि प्रस्तावित

औद्योगिक निवेश को गति देने के लिए सरकार ने विभिन्न निवेश प्रोत्साहन नीतियों के अंतर्गत भी भारी धनराशि प्रस्तावित की है. त्वरित निवेश प्रोत्साहन नीति 2020 के कार्यान्वयन के लिए ₹75 करोड़, फॉरेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट एवं फॉर्च्यून-500 कंपनियों के निवेश प्रोत्साहन नीति 2023 के तहत ₹371.69 करोड़ का प्रावधान किया गया है.

वहीं, यूपी ऑक्सीजन उत्पादन प्रोत्साहन नीति 2021 के लिए ₹23.03 करोड़ और औद्योगिक निवेश एवं रोजगार प्रोत्साहन नीति 2022 के तहत ₹823.43 करोड़ की धनराशि प्रस्तावित की गई है. साथ ही अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास नीति के लिए ₹100 करोड़ और औद्योगिक निवेश एवं रोजगार प्रोत्साहन नीति 2017 के लिए 300 करोड़ का प्रावधान किया गया है.