मथुरा के डिप्टी कमिश्नर सस्पेंड, जांच समिति के अफसरों पर भी गिरी गाज; हैरान कर देगा मामला

मथुरा में राज्य कर विभाग के डिप्टी कमिश्नर कमलेश कुमार पांडेय को एक महिला अधिकारी के यौन उत्पीड़न के मामले में सस्पेंड कर दिया गया है. मामले की जांच के लिए गठित समिति के छह अन्य अधिकारियों को भी सस्पेंड किया गया है. आरोप है कि इन अधिकारियों ने जांच की आड़ में कमलेश पांडेय को बचाने की कोशिश की थी.

सांकेतिक तस्वीर

राज्य सरकार ने मथुरा में तैनात राज्य कर विभाग के डिप्टी कमिश्नर कमलेश कुमार पांडेय को सस्पेंड कर दिया गया है. कमलेश कुमार पांडेय पर विभाग में ही तैनात एक महिला अधिकारी के यौन शोषण काआरोप है. इस मामले की जांच के लिए गठित आंतरिक समिति के छह पदाधिकारियों को भी सस्पेंड किया गया है. आरोप है कि इस समिति ने जांच के नाम पर कमलेश कुमार पांडेय को ना केवल बचाने का प्रयास किया, बल्कि जांच की दिशा को भटकाने की कोशिश की थी.

राज्य सरकार की ओर से संयुक्त सचिव रघुबीर प्रसाद ने मंगलवार की देर शाम इन सभी अधिकारियों के सस्पेंशन ऑर्डर जारी किए. इसमें इन सातों अधिकारियों को संयुक्त आयुक्त बांदा कार्यालय से सम्बद्ध किया गया है. साथी अधिकारी के यौन शोषण के मामले में फंसे कमलेश कुमार पांडेय और उन्हें बचाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ यह सरकार का बड़ा एक्शन माना जा रहा है. विभागीय अधिकारियों के मुताबिक कमलेश कुमार पांडेय की तैनाती राज्य कर विभाग मथुरा खंड एक में थी.

महिला अधिकारी की शिकायत पर गठित हुई थी कमेटी

इसी खंड में तैनात महिला अधिकारी ने पिछले दिनों उनके ऊपर यौन शोषण समेत अन्य गंभीर आरोप लगाए थे. इन आरोपों की विभागीय जांच के लिए 6 सदस्यीय कमेटी गठित की गई. इस समिति में कोमल छाबड़ा ( सहायक आयुक्त, सचल दल इकाई-2, मथुरा), प्रतिभा (उपायुक्त, विशेष अनुसंधान शाखा मथुरा), पूजा गौतम (सहायक आयुक्त, राज्य कर खंड-2 मथुरा), संजीव कुमार (उपायुक्त, राज्यकर खंड-5 मथुरा), सुनीता देवी (राज्य कर अधिकारी, खंड-3, मथुरा) और वीरेन्द्र कुमार ( उपायुक्त खंड-3 मथुरा) को सदस्य नामित किया गया था.

अब विशेष सचिव करेंगी उच्च स्तरीय जांच

बाद में पता चला कि परिवाद समिति के सदस्यों के साथ भी कमलेश कुमार पांडेय ने सेटिंग कर ली. इसके बाद जांच के लिए गठित समिति ही जांच की दिशा भटकाने में लग गई. फिर शिकायत हुई और जांच में आरोप सही पाए गए. इसके बाद शासन स्तर पर कमलेश कुमार पांडेय और उन्हें बचाने की कोशिश करने वाले अधिकारियों को सस्पेंड किया गया है. वहीं, इन सभी अधिकारियों पर लगे आरोपों की गहन जांच पड़ताल के लिए अब राज्य कर विभाग की विशेष सचिव कृतिका ज्योत्सना को जिम्मेदारी दी गई है.